महाकवि गोपाल दास नीरज फाउंडेशन ट्रस्ट, हिंदी अकादमी और प्रेस क्लब ऑफ इंडिया द्वारा आयोजित किया जाएगा यह कार्यक्रम
दिल्ली के प्रेस क्लब ऑफ इंडिया में महाकवि गोपाल दास नीरज फाउंडेशन ट्रस्ट, हिंदी अकादमी और प्रेस क्लब इंडिया द्वारा 6वां नीरज काव्यांजलि समारोह 19 जुलाई शुक्रवार को शाम 7 बजे आयोजित किया जाएगा। हर वर्ष की तरह इस बार भी नीरज फाउंडेशन ट्रस्ट ने एक प्रतिष्ठित साहित्यकार को नीरज सम्मान से नवाजने का निर्णय लिया है। इस बार यह सम्मान देश के जाने-माने गीतकार जावेद अख्तर को दिया जा रहा है। जावेद अख्तर ने अपने उत्कृष्ट गीतों और शायरी के माध्यम से हिंदी साहित्य और सिनेमा को समृद्ध किया है और एक अलग पहचान बनाई है।
इस महत्वपूर्ण अवसर पर साहित्यकार और अभिनेता श्री अनु कपूर, फिल्म निर्माता श्री बोनी कपूर, फिल्म निर्माता रूमी जाफरी और फाउंडेशन ट्रस्ट के संरक्षक श्री उपेंद्र राय भी उपस्थित रहेंगे। इसके अलावा देश के प्रसिद्ध कवि श्री सुरेंद्र शर्मा, बुद्धिनाथ मिश्र, और प्रताप सोमवंशी जैसे विशिष्ट साहित्यकार भी कार्यक्रम में शिरकत करेंगे। जबकि मध्यप्रदेश सरकार में खेलकूद-सहकारिता मंत्री विश्वास सारंग मुख्यअतिथि, एडीजीपी पंजाब पुलिस अति विशिष्ट अतिथि और हिंदी अकादमी सचिव रिषी कुमार एवं यूपी सरकार में पूर्व एमएलसी रामनरेश यादव विशिष्ट अतिथि होंगे।
कार्यक्रम के दौरान जावेद अख्तर की साहित्यिक यात्रा और उनके योगदान पर विशेष चर्चा की जाएगी। इसके साथ ही उनकी कुछ प्रमुख रचनाओं का वर्णन भी किया जाएगा, जिससे दर्शकों को उनकी साहित्यिक प्रतिभा का परिचय प्राप्त हो सकेगा। अन्य आमंत्रित कवि भी अपनी कविताओं के माध्यम से इस साहित्यिक समारोह में रंग भरेंगे। नीरज काव्यांजलि समारोह का उद्देश्य हिंदी साहित्य और कविता को प्रोत्साहन देना और नए कवियों को प्रेरित करना है। इस कार्यक्रम में साहित्य प्रेमियों को एक अद्वितीय काव्य संध्या का आनंद लेने का अवसर मिलेगा।
स्वर्गीय श्री पदमभूषण गोपाल दास नीरज के पुत्र मृगांक प्रभाकर ने कहा, “मुझे अत्यंत गर्व हो रहा है कि 6वें नीरज काव्यांजलि समारोह में जावेद अख्तर को नीरज सम्मान 2024 से सम्मानित किया जाएगा। यह सम्मान हिंदी साहित्य और कविता के प्रति उनके अमूल्य योगदान का सच्चा प्रतिफल है। यह न केवल उनके व्यक्तिगत योगदान का सम्मान है बल्कि हिंदी साहित्य और कविता की धरोहर को भी संजीवनी देने का प्रयास है। यह समारोह साहित्य प्रेमियों के लिए एक यादगार शाम साबित होगा।”